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21 नवंबर : विश्व टेलीविजन दिवस, जानिए टेलीविजन का सफर

 

विश्व में टेलीविजन दिवस हर साल 21 नवंबर को मनाया जाता है। टेलीविजन दिवस का उद्देश्य लोगों को टेलीविजन के महत्व के बारे में जानकारी देना और टेलीविजन देखने के लिए आकर्षित करना है। आज टेलीविजन दिवस के अवसर पर दुनियाभर में जगह – जगह टेलीविजन पर आने वाले शो और उनकी भूमिका के बारे में लोगों को जागरुक किया जा रहा है।

21वीं सदीं में आज टेलीविजन मनोरजंन और खबरों के लिए जीवन का प्रमुख हिस्सा बन गया है। टेलीविजन संचार का एक ऐसा माध्यम है, जिससे एक जगह बैठकर पूरे देश या विश्व की खबरें, मनोरंजन, शिक्षा और राजनीति क्षेत्र से जुड़ी सूचनाएं मिलती है। आधुनिक दुनिया में टेलीविजन मीडिया का सबसे शक्तिशाली माध्यम बन गया है।

विश्व टेलीविजन दिवस मनाने का उद्देश्य

21 नवंबर 1996 को संयुक्त राष्ट्र महासभा ने पहली बार लोगों को जागरुक करने और जानकारी देने के लिए विश्व टेलीविजन दिवस मनाने की घोषणा की थी। 1996 से हर साल पूरे विश्व में 21 नवंबर को अन्तर्राष्ट्रीय टेलीविजन दिवस मनाया जाता है। विश्व में मीडिया उद्योग को बढ़ावा देने, मानव के विकास में अहम भूमिका निभाने के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से विश्व टेलीविजन दिवस मनाया जाता है। टेलीविजन के आने से लोगों के जीवन में बदलाव आया है।

टेलीविजन की शुरुवात

टेलीविजन के अविष्कार से संचार के क्षेत्र में पूरे दुनिया में क्रांति आई है। टीवी की खोज अक्टूबर 1925 में हुई थी। टीवी का अविष्कार जॉन लॉगी बेयर्ड ने किया था। जॉन लॉगी बेयर्ड और उनके सहायक विलियम टायटन पहले व्यक्ति है, जिसने सबसे पहले टीवी पर प्रसारण किया था। 1927 में, फिलो टेलर फार्न्सवर्थ (21 वर्षीय) युवक ने दुनिया के पहले इलेक्ट्रॉनिक टेलीविजन का आविष्कार किया। न्यूयार्क में 1 जुलाई 1941 को पहला टेलीविजन विज्ञापन लाइव स्ट्रीम किया गया था।

भारत में टीवी की शुरुवात

भारत मे टेलीविजन की शुरुवात प्रायोगिक तौर पर 15 सितंबर 1959 में दिल्ली में हुई थी। उस दौरान एक सप्ताह में दो बार एक- एक घंटे का कार्यक्रम टीवी पर प्रसारित होता था। भारत में टेलीविजन प्रसारण की शुरवात ऑल इंडिया रेडियों के अन्तर्गत हुई थी। 1976 में भारत में टेलीविजन एक स्वतंत्र विभाग बना। इसके बाद से भारत के कई क्षेत्रों में टेलीविजन के केन्द्र भी खोले गए। भारत में सूचना क्रांति के दौर में दूरदर्शन जन जागरूकता का एक बेहतरीन माध्यम साबित हुआ है। लोगों के लिए टीवी आज मनोरंजन और सूचना का विश्वसनीय साधन बन गया है। 1982 में पहली बार राष्ट्रीय टेलीविजन चैनल की शुरुआत हुई। साथ ही इसी साल देश में पहला रंगीन टीवी आया था।

आपको बता दें कि पूरी तरह से कलर टीवी का प्रसारण 1953 में अमेरिका में शुरु हुआ था। आज के युग में टेलीविजन वैश्विक सूचना के प्रसार को बढ़ावा देने वाले अंतर्राष्ट्रीय दिवस का प्रतीक है और टीवी लोगों के जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।