नशे का सेवन का दुष्प्रभाव भावी पीढ़ियों पर पड़ता है, नशा मुक्ति पखवाड़े के समापन पर बोले वक्ता
नशे का सेवन मनुष्य को शारीरिक और मानसिक तौर पर खोखला कर देता है जिसका दुष्प्रभाव भावी पीढ़ियों पर पड़ता है- आयुक्त यशोवर्धन पाठक
पटना 26.6.2024:अंतर्राष्ट्रीय मादक द्रव्य दुरूपयोग एवं अवैध तस्करी निरोधी दिवस 2024 के अवसर पर बुधवार (26 जून) को सीमा शुल्क आयुक्तालय (निवारण) पटना के अधिकारियों ने, आयुक्त यशोवर्धन पाठक के नेतृत्व में नशा मुक्ति पखवाड़े के समापन के अवसर पर एक कार्यक्रम का आयोजन किया।
कार्यक्रम के तहत सभी अधिकारियों ने “नशा मुक्त भारत” को सफल बनाने के लिए शपथ ली तथा विभागीय स्तर पर व विद्यालयों में स्लोगन लेखन/निबंध लेखन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें शामिल सफल प्रतिभागियों को पुरस्कृत किया गया।
इस अवसर पर आयुक्त यशोवर्धन पाठक ने अपने संबोधन में नशा के दुष्प्रभावों पर सबका ध्यान आकृष्ट किया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि नशे का सेवन मनुष्य को शारीरिक और मानसिक तौर पर खोखला कर देता है जिसका दुष्प्रभाव भावी पीढ़ियों पर भी पड़ता है। इस संदर्भ में उन्होंने इसके उन्मूलन में विभागीय प्रयासों की भी चर्चा की तथा आगे बताया कि नशीले पदार्थों के सेवन से व्यक्ति को न केवल व्यक्ति को शारीरिक, मानसिक और आर्थिक क्षति पहूंचती है, बल्कि इससे सामाजिक वातावरण भी प्रदूषित होता है। इस क्रम में उन्होंने यह निर्देश दिया कि आने वाले समय में बिहार में “नशीले पदार्थ” यथा गांजा, हीरोइन एवं अन्य मादक द्रव्यों के अवैध तस्करी एवं व्यापार पर रोक लगाने के लिए पुरजोर प्रयास किए जाने की आवश्यकता है। इसके कार्यान्वयन हेतू यह निर्देश दिया कि सभी सीमावर्ती सीमा शुल्क कार्यालय को नशीले पदार्थों के अवैध तस्करी तथा आवागमन पर पूर्ण रूप से रोक लगाएं तथा पहले से जब्त नशीले पदार्थों का निस्तारण विभागीय प्रावधानों के तहत यथाशीघ्र करें।
जैसा कि इस प्रकार की जब्ती का निस्तारण राजस्व विभाग, वित्त मंत्रालय, भारत सरकार के अधिसूचना संख्या जी. एस. आर. 899 इ दिनांक 23.12.2022 के तहत निर्धारित प्रावधानों के तहत नियमित एवं उच्च स्तरीय औषधि निपटान समिति एवं सक्षम प्राधिकारी से आवश्यक अनुमति प्राप्त करने के बाद विनष्टीकरण के माध्यम से किया जाता है |
इस कार्यक्रम में अनीश गुप्ता, अपर आयुक्त तथा पिंकी कुमारी, संयुक्त आयुक्त भी उपस्थित रहें ।